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Friday, September 20

नौकरियों में राजस्थान के युवाओं को 100% रिजर्वेशन की तैयारी: गहलोत बोले- कई राज्यों ने किया है, हम भी स्टडी करा रहे हैं

राजस्थान में सरकार सरकारी नौकरी में प्रदेश के युवाओं को 100% रिजर्वेशन देने की तैयारी कर रही है। सरकार इसके कानूनी पहलू का परीक्षण करा रही है। अगर कोई अड़चन नहीं आई तो राजस्थान में होने वाली सरकारी भर्तियों में राज्य के बाहर के अभ्यर्थी शामिल नहीं हो सकेंगे। मुख्यमंत्री अशोक गहलोत ने मंगलवार को यूथ एक्सीलेंट सेंटर के शिलान्यास समारोह में यह संकेत दिए।

गहलोत ने कहा- प्रदेश में पिछले कुछ वक्त से सरकारी नौकरियों में प्रदेश के युवाओं को आरक्षण देने की मांग उठ रही है, लेकिन सुप्रीम कोर्ट की भावना के हिसाब से कहते हैं वह ठीक नहीं है। मैं स्टडी करवा रहा हूं। अगर ऐसी स्थिति बनी देश के अंदर, तो राजस्थान पहला राज्य होगा जहां युवाओं को पूरा आरक्षण मिलेगा। हमारे बच्चों की ही नौकरियां लगनी चाहिए।

गहलोत ने कहा- यह मैं इसलिए कह रहा हूं कि सुप्रीम कोर्ट कह रहा है कि यह आप कर नहीं सकते हैं। एक दो राज्यों ने फैसला किया है, उसे मैं दिखवा रहा हूं। यह वादा मैं आज आप लोगों से ही कर रहा हूं। मैं खुद चाहता हूं ऐसा काम करें कि आप खुद भी याद करते रहें।

3 लाख पदों पर दी जाएगी नौकरियां
CM ने कहा- राजस्थान में सरकार बनने के बाद 1 लाख 25 हजार से ज्यादा युवाओं को रोजगार दिया जा चुका है। एक लाख नौकरियां प्रक्रियाधीन है। जबकि एक लाख और भर्तियां की जाएंगी। ऐसे में 3 लाख पदों पर युवाओं को रोजगार दिया जाएगा। फिर भी युवा धरने देते हैं। जो पूरी तरह गलत है।

युवा केंद्रित होगा राजस्थान का बजट
गहलोत ने कहा- राजस्थान में इस बार का बजट युवाओं पर केंद्रित होगा। मैं चाहता हूं कि खेल मंत्री, युवा बोर्ड के पदाधिकारी आप सभी लोग देशभर की युवा नीतियों का अध्ययन करें। उनमें से जो भी नीति युवाओं के लिए फायदेमंद है। हमें बताए, हम उसे राजस्थान में भी लागू करेंगे। ताकि प्रदेश के युवाओं को हर संभव मदद मिल सके।

अग्निपथ के खिलाफ प्रदर्शनों में हिंसा गलत, केंद्र ने बिना चर्चा स्कीम लागू की
मुख्यमंत्री ने कहा कि केंद्र सरकार ने युवाओं पर अग्निपथ योजना थोप दी है, जिससे 4 साल में ही युवा बेरोजगार हो जाएगा। उन्हें पेंशन जैसी सुविधाएं भी नहीं दी जाएगी, जिससे युवाओं के भविष्य खतरे में है। ऐसे में केंद्र सरकार को इस योजना को लागू करने से पहले लोकसभा-राज्यसभा में चर्चा करनी चाहिए थी। ताकि युवाओं के हित को ध्यान में रखते की तरीके से फैसले लिए जा सकें।

केंद्र सरकार सिर्फ कानून थोपने में विश्वास रखती है, जो गलत है। गहलोत ने कहा- देशभर में युवा उग्र प्रदर्शन कर रहे हैं। पूरी तरह से गलत है, हमें शांतिप्रिय तरीके से अपनी बात कहनी चाहिए। सरकारी संपत्ति को नुकसान पहुंचाना किसी भी मांग का समाधान नहीं है।

राजस्थान युवा बोर्ड अध्यक्ष सीताराम लांबा ने बताया कि यूथ एक्सीलेंस सेंटर में युवा अपने भविष्य की तैयारियों को लेकर चिंतन और मंथन कर सकेंगे। एक्सीलेंस सेंटर में कौशल विकास प्रशिक्षण केंद्र, युवा सलाहकार सेल, मेंटरशिप कार्यक्रम के साथ ही युवाओं के रहने और खाने की व्यवस्था की जाएगी। ताकि युवा एक छत के नीचे अपने विचारों को करियर के रूप में स्थापित कर सके।

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