अभिनव न्यूज
नागौर: नागौर में पतंगबाजी का रिवाज आखातीज पर था। पिछले चार-पांच साल से नागौर शहर में भी मकर संक्राति पर पतंगबाजी होती है। शनिवार को आसमान में पतंगबाजी होती नजर आई। शनिवार दोपहर को विजय वल्लभ चौराहे पर एक व्यक्ति बुलेट सवार चाइनीज मांझे से गंभीर घायल होते बचा।
युवक बाइक से घर जा रहा था। इस दौरान चाइनीज मांझे से उसके गर्दन पर कट लग गया। चेनार रहने वाले रामस्वरुप ने बाइक की रफ्तार कम कर ब्रेक लगा दिया। जिससे वह बाल बाल बच गया।नहीं तो गर्दन पर मांझे का कट अधिक लग सकता था।
रामस्वरुप ने बताया कि मांझा सीधा गर्दन पर अड़ गया, जिससे कट लग गया। पुलिस प्रशासन को चाइनीज मांझा बेचने वालों पर सख्ती दिखाते हुए कार्रवाई करनी चाहिए, नहीं तो लोगों की जान संकट में आ सकती है। बाइक की रफ्तार तेज होती तो जान जा सकती थी।
दुकादार बेच रहे चाइनीज मांझा
मकर संक्राति पर शहर में दुकानदार चाइनीज मांजा का व्यापार कर रहे हैं। लेकिन पुलिस की ओर से हिदायत दिए जाने के बाद भी दुकानदार चाइनीज मांझा बेचने से परहेज नहीं कर रहे। शनिवार तक पुलिस की ओर से किसी प्रकार की एक भी दुकानदार के यहां कार्रवाई नहीं की गई।
क्यों माना जाता है खतरनाक
चाइनीज मांझा सामान्य मांझे की तुलना में काफी धारदार होता है। धारदार होने के साथ ही यह इलेक्ट्रिक कंडक्टर होता है, जिस वजह से इसे और भी ज्यादा खतरनाक माना जाता है। दरअसल, इलेक्ट्रिक कंडक्टर होने की वजह से चाइनीज मांझे में करंट आने का खतरा रहता है। इसके अलावा ये मांझा आसानी से नहीं टूटता है और कई ऐसी घटनाएं सामने आई हैं, जिनमें देखा गया है कि टू-व्हीलर चालकों के गले में यह फंस जाने से कई बार चालक की मौत भी हो जाती है। कई पक्षी भी इससे कट जाते हैं।
किस तरह से बनता है चाइनीज मांझा
चाइनीज मांझे को प्लास्टिक मांझा भी कहा जाता है। यह प्लास्टिक का मांझा या चाइनीज मांझा अन्य मांझों की तरह धागों से नहीं बनता है। यह नायलॉन और एक मैटेलिक पाउडर से मिलकर बनाया जाता है। नायलॉन के तार में कांच आदि लगातार इसे और भी ज्यादा धारदार बनाया जाता है। यह स्ट्रेचेबल भी होता है, इस वजह से कटता भी नहीं हैं। वहीं, जब इसे उड़ाते हैं तो इसमें हल्का से कंपन होता है।