अभिनव टाइम्स | बीकानेर के छत्तरगढ़ में जमीनों के पंजीयन में अवैध तरीके से अतिरिक्त रुपए वसूलने के मामले में भ्रष्टाचार निरोधक ब्यूरो ने एकाउंटेंट को गिरफ्तार कर लिया है जबकि कुछ अन्य अधिकारी व कर्मचारी भी एसीबी के हत्थे चढ़ सकते हैं। एसीबी इस हेराफेरी के पूरे रैकेट का पर्दाफाश करने की तैयारी में जुटी हुई है। ब्यूरो को बुधवार रात हुई कार्रवाई में एकाउंटेंट का काम कर रहे इरफान खान को गिरफ्तार किया है। उससे पुलिस को दो लाख सत्तर हजार रुपए की बेहिसाबी रुपए मिले थे।
अतिरिक्त पुलिस अधीक्षक महावीर शर्मा ने दैनिक भास्कर को बताया कि इस केस में अकेले इरफान की भूमिका है या अन्य अधिकारी कर्मचारी भी शामिल है? इसकी जांच की जा रही है। अकेले इरफान किसी भी पीड़ित से रुपए लेकर काम नहीं करवा सकता। ऐसे में अन्य कार्मिकों की भूमिका का पता लगाया जा रहा है। एसीबी ने इरफान के घर पर भी तलाशी ली थी लेकिन वहां से कुछ ज्यादा नहीं मिला है।
अवैध वसूली क्यों होती है?
दरअसल, जमीनों की रजिस्ट्री करवाते वक्त उसके साइज के आधार पर सरकार को शुल्क देना होता है। सरकारी खजाने में कम से कम रुपए देने की कोशिश में हेराफेरी की जाती है। ये शिकायत अकेले छत्तरगढ़ की नहीं है बल्कि अनेक कार्यालयों में इसी तरह सरकारी खजाने को नुकसान पहुंचाया जाता है। आशंका है कि छत्तरगढ़ में भी बड़ी मात्रा में सरकारी खजाने को नुकसान पहुंचाया गया है।
अन्य से होगी पूछताछ
इस मामले में अब पंजीयन कार्यालय के आला अधिकारियों से भी पूछताछ हो सकती है। दरअसल, ACB पूरे रैकेट का पर्दाफाश करने के लिए मामले की तह तक जा सकती है। पिछले दिनों में किन लोगों ने रजिस्ट्री करवाई है? उनकी भी जांच हो सकती है। रजिस्ट्री में गड़बड़ी करके कम रुपए देने वालों की छानबीन की जा सकती है।
गुमनाम पत्र से सूचना
एएसपी महावीर प्रसाद को गुमनाम पत्र से इस फर्जीवाड़े का पता चला था। ऐसे में एसीबी ने अपनी टीम को काम पर लगाकर सूचना एकत्र की तो पुष्टि हुई कि अतिरिक्त राशि वसूल की जा रही है। जब ये पुख्ता सूचना मिली कि आज भी बड़ी संख्या में राशि ली गई है तो टीम ने यहां छापा मारकर रुपए बरामद कर लिए। यहां महज 39 हजार रुपए की रसीद मिली है, जबकि दो लाख सत्तर हजार रुपए का हिसाब नहीं मिला।